30 लाख तक के मकान अब सरकार खुद अपनी एजेंसी से बनवा कर बेचेगी

मध्यमवर्गीय परिवारों के लिए सरकार ने योजना बनाई

Now the government will build and sell houses up to Rs 30 lakh through its own agency.
Now the government will build and sell houses up to Rs 30 lakh through its own agency.

नई दिल्ली (ब्यूरो)। केन्द्र सरकार द्वारा 2015 में मध्यमवर्गीय परिवारों के अलावा ईडब्ल्यूएस और गरीब परिवारों के लिए सस्ते मकान खरीदने पर सब्सिडी दिए जाने की योजना प्रारंभ की थी। इस योजना में सब्सिडी के रूप में राशि बिल्डर को दी जा रही थी।

इस मामले में कई गड़बड़ियां सामने आने के बाद अब मोदी सरकार अपने तीसरे दौर मेें अब खुद ही सरकारी एजेंसियों से अफोर्डेबल मकानों का निर्माण करवाकर बाजार में बेचेगी। केन्द्र सरकार के आने वाले बजट में 3 करोड़ नए मकान बनाकर परिवारों को रियायती दरों पर दिए जाने हैं। इसके अंतर्गत एमआईजी, एलआईजी और ईडब्ल्यूएस मकानों का निर्माण किया जाएगा। इसके पूर्व सरकार गरीबी रेखा से नीचे के लोगों के लिए ही मकान बना रही थी।

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नए बजट में मध्यमवर्गीय क्लास के लोगों का अपना घर खरीदने का सपना जल्द पूरा होने जा रहा है। सरकार नई हाउसिंग स्कीम पर तेजी से काम कर रही है। आवास और शहरी मामलों के सचिव मनोज जोशी ने यह जानकारी देते हुए बताया कि भारत के विकसित राष्ट्र बनने और 30 लाख करोड़ डॉलर की अर्थव्यवस्था तक पहुंचने में रियल एस्टेट महत्वपूर्ण है। जोशी ने कहा कि हमारे पास अफोर्डेबल हाउसिंग (सस्ते घर) की कमी है।

इसके लिए केंद्र सरकार की प्राथमिकता राज्यों और शहरी स्थानीय अधिकारियों के साथ काम करना है ताकि शहरी नियोजन प्रक्रिया के तहत बड़े संख्या में सस्ते घर बनाए जा सके। इसके लिए डेवलपर्स को अपने प्रोजेक्ट में कम से कम से कम 15 प्रतिशत या अधिक सस्ते घर बनाने चाहिए।

उन्होंने कहा कि सरकार ने शहरी इंफ्रास्ट्रक्चर को बेहतर बनाने के लिए केंद्र सरकार ने चालू वित्त वर्ष में राज्यों को 20,000 करोड़ रुपये प्रदान किए हैं। आपने यह भी कहा कि सस्ते मकान बनाने के लिए विभिन्न राज्यों में काम कर रही सरकारी हाउसिंग एजेंसियों को भी इसमें जोड़ा जाएगा ताकि योजना का अधिक से अधिक लाभ उठाया जा सके।

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