इंदौर। जिले के नए कलेक्टर इलैया राजा टी 2009 बैच आईएएस हैं,पहले रीवा कलेक्टर थे, वर्तमान में जबलपुर में कलेक्टर रहते हुए कई ऐसे काम किए जिससे जनता के बीच उनकी अच्छी छवि बनी। तमिलनाडु के रहने वाले इलैया ने वेटरनरी की पढ़ाई के बाद आईएएस एग्जाम ब्रेक किया। अब तक जहाँ भी कलेक्टर रहे है। उन्होंने स्वास्थ्य, शिक्षा और स्मार्ट सिटी के अधूरे कार्यों को समय पर पूरा कराना उन्होंने अपनी प्राथमिकता दी है। इंदौर में उनकी यह पहली पोस्टिंग है। भिंड कलेक्टर रहते हुए उनके तबादला आदेश को रुकवाने के लिए जनता सड़क पर आंदोलन के लिए उतर आई थी।
Also Read – भू-माफियाओं पर सख्ती के साथ संवेदनायुक्त प्रशासन की पहचान रहेंगे मनीषसिंह इंदौर में पोस्टिंग से पहले इलैया राजा टी सिवनी व मंडला में पदस्थ रह चुके हैं। जबलपुर के बाद कलेक्टर के रूप में पहली बार इंदौर जिले की कमान संभालने आ रहे है। इससे पहले वे सिवनी में अपर कलेक्टर, मंडला मैं एसडीओ का पद संभाल चुके हैं।
जिला पंचायत राजगढ़ में सीईओ के बाद भिंड कलेक्टर बनाए गए थे। भिंड के बाद डिप्टी सेक्रेटरी सामान्य प्रशासन भोपाल और वहां से रीवा कलेक्टर बनाए गए थे। करीब साल भर पहले ही उन्हें जबलपुर के तौर पर एक बड़े जिले की जिम्मेदारी दी थी, अब इंदौर कलेक्टर के रूप में फिर से बड़ी जिम्मेदारी दी गई है।
मद्रास वेटनरी कॉलेज से बैचलर ऑफ वेटेनरी साइंस एंड एनिमल हस्ब्रेंडी की डिग्री हासिल करने वाले इलैया ने भिंड कलेक्टर के दौरान जनता का ऐसा प्यार बटोरा कि तबादले पर लोग सड़कों पर उतर आए। धरना-प्रदर्शन तक हुआ।
भिंड में उनके द्वारा शुरू किया गया संकल्प कोचिंग में गरीब बच्चों की पढ़ाई का नवाचार आज भी लोग याद करते हैं। हर पंचायत में मॉडल तालाब का विकसित कराया था। अवैध उत्खनन और माफिया के प्रति सख्त इलैया आम जनता के प्रति नरम दिल इंसान माने जाते हैं।