हर वर्ष यादवी समाज द्वारा जन्माष्टमी पर अपनी ताकत का परिचय देने के लिए केवल शोभायात्रा निकालकर अपने आप को शहरभर में दिखाने का काम कर लेते थे। इस बार 18 अगस्त को जन्माष्टमी दरवाजे पर खड़ी हो गई है और कौन घंटी बांधे? इसे लेकर कोई नि$र्णय नहीं हो पा रहा है। इसके पूर्व ओंकार यादव यह परचम उठाकर चलते थे परंतु वे भी अब बीमार रहने लगे हैं हालांकि इस बार नगर निगम के अखाड़े में चार यादव जीतकर आ गये है। जिसमे मुन्नालाल यादव, दीपू यादव, संध्या यादव, शिवम यादव, शामिल है। अब सवाल उठ रहा है विवादों का अखाड़ा कौन उठाये? और इसलिए इस बार अभी तक कहीं कोई मैदान में दिखाई नहीं दे रहा है। ले देकर आखिरी में दीपू यादव की बग्गी में ही सवार होने के लिए गणित बैठाया जा रहा है।
ले आओ कैसा भी काम हो… कर देंगे…
इन दिनों सहकारिता विभाग में लंबे समय से पदस्थ रहे अधिकारी जगदीश कनौजे का कामकाज बहुत तेजी से चल रहा है। वैसे भी वे पिछले विधानसभा चुनाव में भाजपा की ओर से मैदान में उतरने की तैयारी कर चुके थेऔर इसी के चलते उन्होंने इंदौर की कई लफड़े वाली सोसायटियों के प्रकरणों की सुपारी भी लेकर वे काम निपटा रहे थे परंतु वे भाजपा से उम्मीदवारी लाने में सफल नहीं हो पाये। इस बार उनका पक्का दावा है कि वे सेवानिवृत्ति जो नवंबर में हो रही है उसके बाद विधायक बन जाएंगे और इसलिए वे इन दिनों सहकारिता विभाग में सभी काम करने को आतुर है। हालत यह है कि सहकारिता मंत्री अरविंद भदौरिया के काम भी लेने को तैयार है। हो सकता है उनके रिश्ते हो क्योंकि कई तबादलों के बाद भी वे इंदौर में अंगद की तरह चिपके हुए है।